नगर पंचायत सांवेर नगर पालिका सांवेर कि स्थापना 12 दिसंबर 1952 को हुई थी। स्थापना वर्ष में नगर में कुल 5 वार्ड एवं लगभग 1200 मतदाता थे। प्रारम्भिक वर्षो में नगर पालिका कार्यालय स्थानीय बस स्टैंड पर स्थित था । नवीन नगर पंचायत कार्यालय वर्ष 1975 में निर्मित हुआ था । नगर पालिका सांवेर के प्रथम अध्यक्ष श्री केशवराव जी कानूनगो थे। वर्ष 1994 में नगर पालिका को नगर पंचायत सांवेर में परिवर्तित किया गया था । नगर पंचायत सांवेर का कुल क्षेत्रफल 8 कि. मी. है। सांवेर नगर की कुल जनसँख्या वर्ष 2001 की जनगणना के अनुसार 13126 है, एवं कुल मतदाता 8675 हे, इसमें पुरुष मतदाता 4453 एवं 4222 महिला मतदाता है। नगर में प्रथम विद्युत् कनेक्शन वर्ष 1965 में हुए थे एवं जल प्रदाय हेतु नल कनेक्शन नगर में 1972 में दिए गए थे। नगर का सबसे पुराना शासकीय कार्यालय डाकघर है, जिसकी स्थापना 1883 में हुई थी। नगर में 1 स्नातक महाविद्यालय, 2 उच्चतर माध्यमिक विद्यालय, 7 माध्यमिक विद्यालय, 7 प्राथमिक विद्यालय एवं 1 उर्दू विद्यालय है।
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सांवेर का इतिहास इतिहास के झरोखे में नजर डाले, तो सांवेर का उल्लेख मिलता है, सांवेर की ऐतिहासिक पृष्ठभूमि सदियों पुरानी है। इसका उल्लेख यहाँ के मकान व शिलालेखो पर देखने को मिलता है। सांवेर का प्राचीन नाम " सगाना " हुआ करता था, जो कि श्री बाजीराव पेशवा के समय से सांवेर में परिवर्तित हो गया था । उपलब्ध जानकारी के अनुसार शंहशाह हुमायूँ के दिल्ली दरबार में जागीरदार माननीय श्री ठाकुर सिदासजी कानूनगो द्वारा हिजरी सन 966 वि.स. 1602 याने करीब 450 वर्ष पूर्व सांवेर की स्थापना की गयी। सांवेर में कुछ मकानों कि नक्काशी व शिल्पकार्य से भी अनुमान लगता है कि सांवेर पुरातनकाल में भी अस्तित्व में था। नगर के लगभग सभी मंदिरों मसलन राम मंदिर, कृष्ण मंदिर, शंकर मंदिर, केदारेश्वर मंदिर, नील कंठेश्वर मंदिर, गणेश मंदिर, काशी विश्वनाथ मंदिर, अनंतनारायण मंदिर आदि की स्थापना देवी अहिल्या बाई होल्कर के शासन काल में हुई थी। नगर के उज्जैन स्थित खेडापति हनुमान मंदिर (बड़े हनुमान मंदिर) की स्थापना श्री शिवाजी महाराज के दूत स्वामी समर्थ रामदासजी द्वारा की गयी थी। तात्कालिक समय में होलकर राजघराने की सीमा बड़े